“त्योहारों में सख्ती: भड़काऊ नारे और हथियारों की नो एंट्री, कांवड़ मार्ग पर मांस बिक्री पर रोक – सीएम योगी”

उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने आगामी धार्मिक त्योहारों के मद्देनज़र प्रदेश भर के वरिष्ठ प्रशासनिक और पुलिस अधिकारियों के साथ एक अहम समीक्षा बैठक की। यह बैठक वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से आयोजित की गई, जिसमें कांवड़ यात्रा, मोहर्रम, जगन्नाथ रथ यात्रा और श्रावण मास के अन्य प्रमुख आयोजनों को लेकर कानून-व्यवस्था, स्वच्छता, सुरक्षा और सामाजिक सौहार्द पर विशेष चर्चा की गई।

मुख्यमंत्री ने स्पष्ट शब्दों में निर्देश दिए कि आगामी धार्मिक आयोजनों के दौरान किसी भी प्रकार की भड़काऊ गतिविधियों, नारेबाजी या हथियारों के प्रदर्शन को बिल्कुल बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। उन्होंने कहा कि धार्मिक आस्थाओं का सम्मान बना रहे, लेकिन किसी भी आयोजन के माध्यम से अराजकता या तनाव फैलाने की कोशिश करने वालों के खिलाफ कठोर कार्रवाई की जाएगी।

उन्होंने खासतौर पर कांवड़ यात्रा मार्गों पर खुले में मांस की बिक्री पर रोक लगाने के निर्देश दिए। उनका कहना था कि यह यात्रा श्रद्धा, अनुशासन और उल्लास का प्रतीक है, और इसके मार्ग पर ऐसा कोई दृश्य नहीं होना चाहिए जो किसी समुदाय की भावना को ठेस पहुंचा सके।

मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को यह भी चेताया कि कुछ जिलों—जैसे कौशांबी, इटावा और औरैया—में हाल में हुई घटनाएं समाज को बांटने की साजिश का हिस्सा हो सकती हैं। ऐसे मामलों में तुरंत कार्रवाई करें और दोषियों को सार्वजनिक रूप से बेनकाब किया जाए। प्रशासनिक अमले को आदेश दिया गया कि किसी भी घटना के लिए शासन से आदेश की प्रतीक्षा न करें, बल्कि तत्परता से कार्रवाई सुनिश्चित करें।

समीक्षा बैठक में यह भी चर्चा हुई कि किसी शोभायात्रा, रथयात्रा या ताजिया जुलूस की ऊंचाई सीमा से अधिक नहीं होनी चाहिए। डीजे, ढोल-ताशे आदि की ध्वनि सीमा भी तय की जाएगी, जिससे ध्वनि प्रदूषण और अशांति को रोका जा सके। उन्होंने सख्ती से कहा कि किसी शोभायात्रा के लिए पेड़ काटना या गरीबों के आश्रय को हटाना पूरी तरह अस्वीकार्य है।

श्रावण मास की पवित्रता को ध्यान में रखते हुए मुख्यमंत्री ने सभी मंदिरों की साफ-सफाई, शिवालयों में भीड़ प्रबंधन और यातायात व्यवस्था को दुरुस्त करने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि 11 जुलाई से 9 अगस्त तक चलने वाले श्रावण मास के दौरान कांवड़ यात्रा, श्रावणी शिवरात्रि, नागपंचमी और रक्षाबंधन जैसे प्रमुख पर्वों में भारी संख्या में श्रद्धालु एकत्रित होंगे। वहीं, 27 जून से 8 जुलाई तक जगन्नाथ रथ यात्रा और मोहर्रम भी आयोजित होगा। ऐसे में प्रशासन को चौकन्ना रहना होगा।

सीएम योगी ने यह भी निर्देश दिए कि धार्मिक आयोजनों में ड्रोन से निगरानी की जाए और सोशल मीडिया पर किसी भी भ्रामक सूचना या अफवाह का त्वरित खंडन किया जाए। उन्होंने खासकर वेष बदलकर धार्मिक आयोजनों में घुसपैठ करने वालों पर कड़ी निगरानी रखने के आदेश भी दिए।

बैठक के अंत में मुख्यमंत्री ने जनशिकायतों के निस्तारण, सीएम हेल्पलाइन, और आईजीआरएस पोर्टल पर प्राप्त आवेदनों की स्थिति की समीक्षा की। उन्होंने कुछ जिलों की कार्यप्रणाली पर असंतोष जताते हुए चेतावनी दी कि यदि सुधार नहीं हुआ तो जिम्मेदार अफसरों पर कार्रवाई तय होगी।

बेसिक शिक्षा परिषद के स्कूलों की पेयरिंग नीति पर भी उन्होंने बात करते हुए कहा कि यह प्रक्रिया पूरी तरह पारदर्शी और स्थानीय आवश्यकताओं के अनुसार होनी चाहिए। जिला अधिकारी को इसकी निगरानी सुनिश्चित करने का निर्देश दिया गया।

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